डेली न्यूज़ (01 jul, 2020) · 2020. 7. 1. · (namami gange project) को 45...

18
डे ली यूज़ (01 Jul, 2020) drishtiias.com /hindi/current-affairs-news-analysis-editorials/news-analysis/01-07-2020/print टे ट ऑफ वड पॉपु ले शन, 2020 ि रपोट ीिलस के िलये : टे ट ऑफ वड पॉपु ले शन, 2020 ि रपोट के मु य ि बंद मे स के िलये : टे ट ऑफ वड पॉपु ले शन, 2020 ि रपोट के अनु सार मिहला मृ#यु दर के $मु ख कारण चचा यों ? हाल ही म' यूनाइटे ड नेशस पॉपु ले शन फं ड(The United Nations Population Fund- UNFPA) )ारा िव*व तर पर मिहलाओं की घटती संया के संदभ म' टेट ऑफ वड पॉपु ले शन , 2020 (State of the World Population 2020) ि रपोट जारी की गई है मुख ि बंदु : ि रपोट के अनु सार, हर वष िव*व म' 142 ि मिलयन (14.2 करोड़) लड़िकय5 की मृ#यु हो रही है 1/18

Upload: others

Post on 31-Aug-2020

0 views

Category:

Documents


0 download

TRANSCRIPT

  • डेली यज़ू (01 Jul, 2020)drishtiias.com/hindi/current-affairs-news-analysis-editorials/news-analysis/01-07-2020/print

    टेट ऑफ द व ड पॉपुलेशन, 2020 िरपोट

    ीिल स के िलये: टेट ऑफ द व ड पॉपुलेशन, 2020 िरपोट के मु य िबंदु

    मे स के िलये: टेट ऑफ द व ड पॉपुलेशन, 2020 िरपोट के अनुसार मिहला मृ यु दर के मुख कारण

    चचा म यो?ंहाल ही म ‘यनूाइटेड नेश स पॉपुलेशन फंड’ (The United Nations Population Fund- UNFPA) ारािव व तर पर मिहलाओं की घटती सं या के संदभ म ‘ टेट ऑफ व ड पॉपुलेशन , 2020 (State of theWorld Population 2020) िरपोट जारी की गई है।

    मुख िबंदु:िरपोट के अनुसार, हर वष िव व म 142 िमिलयन (14.2 करोड़) लड़िकय की मृ यु हो रही है।

    1/18

    https://www.drishtiias.com/hindi/current-affairs-news-analysis-editorials/news-analysis/01-07-2020/printhttps://www.drishtiias.com/hindi/daily-updates/daily-news-analysis/state-of-world-population-2019-unfpahttps://www.drishtiias.com/hindi/images/uploads/1593598591_missing-girls.jpg

  • िरपोट से ा त आँकड़ के अनुसार, मिहलाओं की मृ यु की सं या िपछले 50 वषो ंम दोगुनी से अिधक होगई है वष 1970 म यह सं या 61 िमिलयन ( 6.10 करोड़ ) थी जो वष 2020 म बढ़कर 14.26 करोड़ परपहँुच गई है।इस िरपोट म प पातपणू िलंग चयन के साथ-साथ ज म के समय िलंग अनुपात असंतुलन का अ ययनकरके मिहलाओं की मृ यु के कारण की जाँच की गई है।िरपोट के अनुसार, अफगािन तान, बां लादेश और पािक तान म 5 वष से कम उम की लड़िकय की मृ युदर 3 % से कम है।पाँच वष की अविध (वष 2013-17) के औसत के अनुसार, हर वष वैि वक तर पर ज म के समय 1.2िमिलयन मिहलाओं की मृ यु हुई है, वही ं भारत म हर वष ज म के समय लगभग 4,60,000 लड़िकयकी मृ यु हुई है।िरपोट के अनुसार, भारत म वष 2020 तक मृत मिहलाओं की सं या 45.8 िमिलयन हो गई है वही चीन मयह आँकड़ा 72.3 िमिलयन है।िरपोट के अनुसार, िव व म िलंग परी ण के कारण कुल मृत लड़िकय की सं या लगभग दो-ितहाई है तथाज म के बाद की मिहला मृ यु दर लगभग एक-ितहाई है।लिगकआधािरत भेदभाव के कारण अथात ज म से पवू िलंग चयन के कारण िव व म हर वष लगभग 12-15 लाख लड़िकय की मृ यु हो जाती है िजनम से 90%- 95% भारत और चीन म होती ह।

    भारत की ि थित:भारत म िलंग चयन के कारण 46 िमिलयन (4.6 करोड़)लड़िकय की हर वष मृ यु हो रही है। इस िरपोट म वष 2014 के एक अ ययन को आधार बनाते हुए बताया गया िक भारत म ित 1,000मिहला पर 13.5 ित मिहला की मृ यु सवपवू िलंग चयन के कारण हुई है। िरपोट के अनुसार, भारत म 5 वष से कम उम की लड़िकय म मृ यु दर का अनुपात 9 लड़िकय पर 1 है जो सवािधक है।

    कमी के कारण:िरपोट के अनुसार, बल िववाह, लोग म पु ाि त की तीव इ छा तथा िलंग चयन के कारण इस तरह केपिरणाम देखने को िमल रहे है। हाल ही के एक िव लेषण ारा पता चला है िक COVID-19 महामारी के कारण छह महीने तक यिद सेवाएँऔर काय म को बंद िकया जाता है तो 13 िमिलयन लड़िकय को शादी के िलये मज़बरू िकया जा सकताहै। संयु त रा ट की िरपोट म कहा गया है िक हर वष िव व म लाख लड़िकय को अपने समुदाय की उनथाओं के अधीन िकया जाता है जो उ ह शारीिरक एवं भावना मक प से नुकसान पहँुचाती ह।

    ोत: द िहंदू

    िववािदत े : गलवान घाटी

    2/18

  • ीिल स के िलयेगलवान घाटी, वा तिवक िनयं ण रेखा

    मे स के िलयेे ीय सीमा िववाद का अंतरा टीय भ-ूराजनीित पर भाव

    चचा म यो?ंहाल ही म गलवान घाटी (Galwan Valley) भारत और चीन के सैिनक के बीच िहंसक झड़प हो गई, िजसम दोनप को भारी जान-माल के नुकसान का सामना करना पड़ा। यात य है िक गलवान घाटी वष 1962 से ही दोनदेश के बीच तनाव का एक िवषय बना हुआ है।

    मुख िबंदुचीन के िवदेश मं ालय ने अपने एक बयान म दावा िकया है िक संपणू गलवान घाटी ‘वा तिवक िनयं णरेखा’ (Line of Actual Control-LAC) के चीनी प पर ि थत है और इसिलये यह चीन का िह सा है।वही ंभारत ने चीन के इस दावे को ‘अितरंिजत और असमथनीय’ बताया है।

    कहा ँहै गलवान घाटी?गलवान घाटी सामा यतः उस भिूम को संदिभत करती है, जो गलवान नदी (Galwan River) के पासमौजदू पहािड़य के बीच ि थत है। गलवान नदी का ोत चीन की ओर अ साई चीन म मौजदू है और आगे चल कर यह भारत की योकनदी (Shyok River) से िमलती है।यात य है िक यह घाटी पि चम म ल ाख और पवू म अ साई चीन के बीच ि थत है, िजसके कारण यह

    रणनीितक प से काफी मह वपणू है।इसका पवूी िह सा चीन के िझंिजयांग ित बत माग (Xinjiang Tibet Road) से काफी नज़दीक है, िजसेG219 राजमाग (G219 Highway) कहा जाता है।

    3/18

    https://www.drishtiias.com/hindi/images/uploads/1593607154_Galwan.jpg

  • वा तिवक िनयं ण रेखा (LAC)वा तिवक िनयं ण रेखा (LAC) एक कार की सीमांकन रेखा है, जो भारतीय-िनयंि त े और चीनी-िनयंि त े को एक दसूरे से अलग करती है।जहाँ एक ओर भारत मानता है िक वा तिवक िनयं ण रेखा (LAC) की लंबाई लगभग 3,440 िकलोमीटरहै, वही ंचीन इस रेखा को तकरीबन 2,000 िकलोमीटर लंबा मानता है।

    चीन का दावायात य है िक वा तिवक िनयं ण रेखा (LAC) गलवान घाटी और योक निदय के संगम के पवू म ि थत

    है, िजस पर भारत और चीन दोन हाल के वषो ंम पेटोिलंग (Patrolling) कर रहे ह।15 जनू 2020 को हुई िहंसक झड़प के बाद चीन ने दावा िकया है िक संपणू गलवान घाटी चीन के िनयं ण

    े म आती है। गौरतलब है िक बीते महीन से चीन गालवान घाटी और योक नदी के संगम तथा वा तिवक िनयं ण रेखा(LAC) के बीच के े म भारत की सड़क िनमाण गितिविधय पर आपि जता रहा है। भारत ने चीन केदावे को िसरे से खािरज़ कर िदया है।

    चीन के लगभग सभी मानिच म संपणू गलवान घाटी को चीन के िनयं ण वाले े का िह सािदखा जाता है।

    मानिच के आधार पर े का िनधारणिवशेष मानते ह िक दोन देश के मानिच के आधार पर इस िववाद को सुलझाना काफी जिटल काय है,जानकार के अनुसार 1956 का मानिच दोन देश के बीच सीमा का एकदम सही िनधारण करता है।यात य है िक वष 1956 का मानिच संपणू गलवान घाटी को भारत के एक िह से के प म दिशत

    करता है, हालाँिक जनू 1960 म चीन ने गलवान घाटी पर अपनी सं भुता का दावा करते हुए एक नयामानिच तुत तुत िकया, िजसम गलवान घाटी को चीन के िह से के प म िदखाया गया था।इसके प चात ्नवंबर 1962 म भी एक नया मानिच िजसम संपणू गलवान घाटी पर दावा तुत िकयागया, िकंतु इसके बाद चीन की सरकार ारा जारी िकये गए न श म गलवान नदी के पि चमी िसरे को चीनके िह से के प म नही ंिदखाया गया।

    ोत: द िहंदू

    नमािम गंगे पिरयोजना

    ीिल स के िलये:िव व बक, नमािम गंगे पिरयोजना

    मे स के िलये:िव व बक ारा पिरयोजना के िलये जारी फंड का िविभ न पिरयोजनाओं म अनु योग

    4/18

  • चचा म यो?ं

    हाल ही म िव व बक ारा 300 करोड़ पए (400 िबिलयम डॉलर) की ‘नमािम गंगे पिरयोजना’(Namami Gange Project) को 45 अरब पए के फंड/ऋण को मंज़रूी दी गई है।

    मुख िबंदु:45 अरब पए का यह ऋण िव व बक ारा पाँच वष की अविध के िलये मंज़रू िकया गया है।नमािम गंगे/नेशनल िमशन फॉर लीन गंगा ( National Mission for Clean Ganga- NMCG) केरा टीय गंगा नदी बेिसन पिरयोजना के पहले चरण जो िक िदसंबर 2021 तक है, के िलये िव व बक से4,535 करोड़ पए ($ 600 िमिलयन) पहले ही ा त हो चुके ह। अब तक िमशन के तहत िव व बक ारा 25,000 करोड़ पए की 313 पिरयोजनाओं को मंज़रूी दी गई है।

    ऋण/ फंड का उपयोग: िव व बक से ा त इस ऋण का उपयोग नदी बेिसन म दषूण को समा त करने एवं अवसंरचनापिरयोजनाओं के िवकास और सुधार के िलये िकया जाएगा । 45 अरब पए के इस ऋण म 11.34 अरब पए का उपयोग मेरठ, आगरा तथा साहारनपुर म गंगा कीसहायक निदय पर तीन नए हाइिबड ए युटी ोजे ट (Hybrid Annuity Projects) बनाने म िकयाजाएगा।1,209 करोड़ पए ($ 160 िमिलयन) ब सर, मंुगेर, बेगसूराय म चल रही DBOT (िडजाइन, िब ड,ऑपरेट और टांसफर) पिरयोजनाओं के िलये मंज़रू िकये गए ह।

    नमािम गंगे पिरयोजना:यह कद सरकार की योजना है िजसे वष 2014 म शु िकया गया था।सरकार ारा इस पिरयोजना की शु आत गंगा नदी के दषूण को कम करने तथा गंगा नदी को पुनजीिवतकरने के उ े य से की गई थी। इस योजना का ि या वयन कदीय जल संसाधन,नदी िवकास और गंगा कायाक प मं ालय ारा िकयाजा रहा है।

    ोत: द िहंदू

    ऑनलाइन िश ा: चुनौती और संभावनाएँ

    5/18

    https://www.drishtiias.com/hindi/daily-updates/daily-news-analysis/india-signs-loan-agreement-with-the-world-bank

  • ीिल स के िलयेऑनलाइन िश ा हेतु सरकार के िविभ न यास, COVID-19

    मे स के िलयेमहामारी के दौरान ऑनलाइन िश ा का मह व, ऑनलाइन िश ा के माग म चुनौितयाँ एवं उनका समाधान

    चचा म यो?ंऑनलाइन िश ा (Online Education) म मौजदू सामािजक असमानता को कम करने के िलये कद सरकारदीघकािलक उपाय अपनाने पर िवचार कर रही है, िजसम आगामी पाँच वषो ंम देश भर के 40 ितशत कॉलेजऔर िव विव ालय के छा को लैपटॉप या टैबलेट िवतिरत करना भी शािमल है।

    मुख िबंदुCOVID-19 महामारी के कारण देश भर म ऑनलाइन िश ा का मह व काफी बढ़ गया है, िकंतु सामािजकअसमानता और िडिजटल िडवाइड (Digital Divide) ऑनलाइन िश ा के सम अभी भी बड़ी चुनौतीबने हुए ह।मानव संसाधन िवकास मं ालय (Ministry of Human Resource Development- MHRD) केअंतगत कूल िश ा और सा रता िवभाग (Department of School Education and Literacy)के अनुमानानुसार, महामारी के कारण बंद हुए कूल को िफर से खोलने के िलये व छता और वारंटाइनउपाय हेतु ित कूल 1 लाख पए तक खच करने की आव यकता होगी।लगभग 3.1 लाख सरकारी कूल , िजनके पास सचूना व संचार तकनीक (ICT) सुिवधाएँ नही ंह, को ऐसीसुिवधाओं से लैस करने के िलये कद सरकार 55,840 करोड़ पए का बजट तािवत करेगी।MHRD ने आगामी पाँच वषो ंम िडिजटल पाठ म सामगी और संसाधन के िवकास एवं अनुवाद पर2,306 करोड़ पए खच करने का ताव िकया है।कद सरकार ने वष 2026 तक देश भर के िविभ न िव विव ालय म पढ़ने वाले लगभग 4.06 करोड़छा (देश की कुल छा सं या का लगभग 40 ितशत) को लैपटॉप और टैबलेट दान करने की भीयोजना बनाई है तथा इस काय के िलये कुल 60,900 करोड़ पए का बजट िनधािरत िकया गया है। कूल िश ा और सा रता िवभाग के अनुसार, कद और रा य उपकरण उपल ध कराने की लागत को

    िफलहाल 60:40 के अनुपात म साझा करगे।

    ऑनलाइन िश ा और COVID-19यात य है िक देश म COVID-19 और इसके िनयं ण हेतु लाग ूिकये गए लॉकडाउन के कारण िश ा

    समेत िविभ न े की गितिविधयाँ गंभीर प से भािवत हुई ह।िवशेष के अनुसार, िव व म COVID-19 के िकसी मािणक उपचार के अभाव म इस बीमारी के सारको रोकना ही सबसे बेहतर िवक प होगा, ऐसे म हम अपनी दैिनक गितिविधय म इसी के अनु पपिरवतन करने ह गे।

    6/18

  • भारत म लॉकडाउन की शु आत से ही लगभग सभी िश ण सं थाएँ शै िणक कायो ंके िलये ऑनलाइनिश ा (Online Education) अथवा ई-लिनंग को एक िवक प के प म योग कर रही ह, ऐसे म देशकी आम जनता के बीच ऑनलाइन िश ा की लोकि यता म अ यिधक वृि हुई है। हालाँिक जहाँ एक ओर कई िवशेष ने मौजदूा महामारी के दौर म ऑनलाइन िश ा अथवा ई-लिनंग कोमह व को वीकार िकया है, वही ंकुछ आलोचक का मत है िक ऑनलाइन िश ा, अ ययन की पारंपिरकप ित का थान नही ंले सकती है।

    ई-लिनग अथवा ऑनलाइन िश ा ई-िश ा से ता पय अपने थान पर ही इंटरनेट व अ य संचार उपकरण की सहायता से ा त की जानेवाली िश ा से है। ई-िश ा के िविभ न प ह, िजसम वेब आधािरत लिनंग, मोबाइल आधािरत लिनंग याकं यटूर आधािरत लिनंग और वचुअल लास म इ यािद शािमल ह।

    ऑनलाइन िश ा की सीमाए ँऔर चुनौितयाँCOVID-19 महामारी से पवू भारतीय के अिधकांश िश ण सं थान को ऑनलाइन िश ा का कोई िवशेषअनुभव नही ंरहा है, ऐसे म िश ण सं थान के िलये अपनी यव था को ऑनलाइन िश ा के अनु पढालना और छा को अिधक-से-अिधक िश ण सामगी ऑनलाइन उपल ध कराना एक बड़ी चुनौतीहोगी। वतमान समय म भी भारत म िडिजटल इ ा ट चर की बहुत कमी है, देश म अब भी उन छा कीसं या काफी सीिमत है, िजनके पास लैपटॉप या टैबलेट कं यटूर जैसी सुिवधाएँ उपल ध ह। अतः ऐसेछा के िलये ऑनलाइन क ाओं से जुड़ना एक बड़ी सम या है।िश क के िलये भी तकनीक एक बड़ी सम या है, देश के अिधकांश िश क तकनीकी प से इतनेिशि त नही ंहै िक औसतन 30 ब च की एक ऑनलाइन क ा आयोिजत कर सक और उ ह ऑनलाइन

    ही अ ययन सामगी उपल ध करा सक।इंटरनेट पर कई िवशेष पाठ म या े ीय भाषाओं से जुड़ी अ ययन सामगी की कमी होने से छाको सम याओं का सामना करना पड़ सकता है।कई िवषय म छा को यावहािरक िश ा (Practical Learning) की आव यकता होती है, अतःदरू थ मा यम से ऐसे िवषय को िसखाना काफी मुि कल होता है।

    आगे की राहिश ण े पर COVID-19 और लॉकडाउन के भाव ने िश ण सं थाओं को िश ण मा यम के नएिवक प पर िवचार करने हेतु िववश कर िदया है।भारत म ई-िश ा अपनी शैशवाव था म है, आव यक है िक इसकी राह म मौजदू िविभ न चुनौितय कोसंबोिधत कर ई-िश ा के प म एक नए िश ण िवक प को बढ़ावा िदया जाए।टेलीिवज़न और रेिडयो काय म के मा यम से देश के दरू थ भाग म ि थत गामीण े म भीलॉकडाउन के दौरान िश ा की पहँुच सुिनि चत की जा सकती है।

    ोत: द िहंदू

    7/18

  • MyGov कोरोना हे पडे क को CogX- 2020 पुर कार

    ीिल स के िलये:CogX- 2020, MyGov कोरोना हे पडे क

    मे स के िलये:MyGov

    चचा म यो?ंहाल ही म भारत सरकार के ‘MyGov कोरोना हे पडे क’ ने दो े िणय म CogX-2020 पुर कार जीते ह।

    मुख िबंदु:ये पुर कार MyGov के तकनीकी भागीदार िजओ हैि टक टे नोलॉजी िलिमटेड (Jio HaptikTechnologies Limited) ारा जीते गए ह।‘MyGov कोरोना हे पडे क’ ने दो े िणय ; थम COVID -19 के िलये सव े ठ नवाचार की ेणी मतथा ि तीय पीपु स वाइस COVID-19 (समग िवजेता) की ेणी म ये पुर कार ा त िकये ह।

    CogX:

    CogX कृि म बुि मता (ArtifiCial Intelligence) पर आयोिजत िकये जाने िव व के मुख आयोजनम से एक है।ितवष लंदन म आयोिजत िकये जाने इस समारोह म यापार, सरकार, उ ोग और अनुसंधान े से जुड़े

    15,000 से अिधक ितभागी िह सा लेते ह।CogX पुर कार, कृि म बुि मता म सव े ठ नवाचार तथा उभरती ौ ोिगिकय के े म िदया जाताहै।

    MyGov:

    MyGov भारत सरकार ारा संचािलत दुिनया का सबसे बड़ा नागिरक संब ता मंच है। यह सरकार और नागिरक के बीच दो-तरफा संचार की सुिवधा देता है। यह सहभागी शासन का एक मुख मंच है।

    MyGov कोरोना हे पडे क:सहभागी पाटीज़:

    कोरोना हे पडे क को COVID-19 महामारी के िखलाफ लड़ाई म MyGov, िजओहैि टकटे नोलॉजी िलिमटेड और WhatsApp के सहयोग से िवकिसत िकया है।यह कृि म बुि मता आधािरत हे पडे क है िजसे 5 िदन के िरकॉड समय म िवकिसत िकया है।

    8/18

  • PPPP मॉडल पर आधािरत:MyGov कोरोना हे पडे क सावजिनक, िनजी और सावजिनक भागीदारी (Public, Private andPublic Partnership- PPPP) का आदश उदाहरण है।MyGov ारा नागिरक किदत सेवाएँ दान की ग ह तथा बुिनयादी सुिवधाओं सिहत तकनीकीसमाधान िजओ हैि टक टे नोलॉजी िलिमटेड ारा िनिमत एवं िवकिसत और तैनात िकये गए ह।

    ि मागी संवाद:MyGov कोरोना हे पडे क' के चैटबोट (कृि म बुि मता पर आधािरत मैसेिजंग एप) को 76िमिलयन से अिधक संदेश ा त हुए ह और 41 िमिलयन से अिधक संदेश पर कदम उठाया गयातथा यह COVID-19 महामारी के संबंध म नवीनतम सचूना दान करके 28 िमिलयन से अिधकभारतीय को लगातार मदद कर रहा है।

    िन कष:MyGov नागिरक और सरकार के बीच एक पुल के प म काय करता है। इस उ े य के साथ िवकिसत'MyGov कोरोना हे पडे क' ने COVID-19 महामारी के दौरान वा तव म लोग तक पहँुच बनाने तथासंबं ता थािपत करने म मदद की है।

    ोत: पीआईबी

    िव ुत (संशोधन) िवधेयक 2020

    ीिल स के िलयेिवधेयक के ावधान

    मे स के िलयेिव ुत (संशोधन) िवधेयक 2020 की आव यकता व उसका मह व

    चचा म यो?ं हाल ही म कद सरकार ने िव ुत अिधिनयम 2003 के िविभ न ावधान म संशोधन करने के िलये िव ुत(संशोधन) िवधेयक, 2020 सदन म पेश िकया है।

    मुख िबंदुिव ुत े म वािणि यक और िनवेश गितिविधयो ंको कमज़ोर करने वाले मह वपणू मु ो ंको संबोिधतकरने के िलये िव ुत (संशोधन) िवधेयक, 2020 तुत िकया गया है।िव ुत े की मौजदूा चुनौितयाँ संरचना मक मु को दरू करने म हुई लापरवाही से उ प न हुई ह।

    9/18

  • इनम िव ुत उ पादन, पारेषण और िवतरण उपयोिगताओं, िबजली आपिूत की पहँुच और गुणव ा,राजनीितक ह त ेप, िनजी िनवेश की कमी, अपया त सावजिनक अवसंरचना और उपभो ता भागीदारी कीकमी तथा पिरचालन और िव ीय अ मताएँ शािमल ह।

    उ े यउपभो ता किदत अवधारणा सुिनि चत करना।िव ुत े की ि थरता म वृि करना।हिरत ऊजा को ो साहन दान करना।

    मु य संशोधन रा टीय चयन सिमित: अलग चयन सिमित (अ य और रा य िव ुत िनयामक आयोग के सद य कीिनयुि त के िलये) के बजाय एक रा टीय चयन सिमित गिठत करने का ताव है।

    हालाँिक कद सरकार, येक रा य के िलये मौजदूा चयन सिमितय को बनाए रखने पर िवचार कररही है लेिकन उ ह थायी चयन सिमितयाँ म पिरवितत करने की आव यकता है तािक हर बार पदिर त होने पर उ ह नए िसरे से गिठत करने की आव यकता न हो।

    य लाभ ह तांतरण का योग: य लाभ ह तांतरण रा य सरकार और िवतरण कंपिनय दोन केिलये लाभदायक होगा।

    यह रा य सरकार के िलये लाभदायक होगा य िक यह सुिनि चत करेगा िक सि सडी उन लोगतक पहँुच रही है जो वा तव म पा ह।यह िवतरण कंपनी को लाभािथय की सं या के अनुसार, ा त होने वाली सि सडी सुिनि चत करकेलाभाि वत करेगा।

    रा टीय अ य ऊजा नीित: भारत पेिरस जलवायु समझौते का ह ता रकता है, इसिलये ऊजा केनवीकरणीय ोत से िबजली उ पादन के िवकास और संव न के िलये एक अलग नीित का ताव करताहै।कॉ ट िर लेि टव टैिरफ: िनधािरत िकये गए टैिरफ को अपनाने म िविभ न रा य आयोग लापरवाही करतेह, िजससे लागत म वृि हो जाती है।

    इस सम या को हल करने के िलये तािवत संशोधन ने िनधािरत टैिरफ को अपनाने के िलये 60िदन की अविध िनधािरत कर दी है।

    िव ुत संिवदा वतन ािधकरण की थापना: इस ािधकरण की अ य ता उ च यायालय के एकसेवािनवृ यायाधीश ारा की जाएगी जो अपनी शि तय को दीवानी यायालय की िड ी की भाँितिन पािदत करगे।

    यह ािधकरण िव ुत उ पादक कंपनी, िवतरण लाइससधारी या टांसिमशन लाइससधारी केबीच िव ुत की खरीद या िब ी या सारण से संबंिधत अनुबंधो ंको ि याि वत करेगा।कदीय िव ुत िनयामक आयोग (Central Electricity Regulatory Commission-CERC)और रा य िव ुत िनयामक आयोग (State Electricity Regulatory Commissions-SERCs) के पास अपने आदेश को िन पािदत करने का अिधकार नही ंहै, जैसा िक िकसी दीवानीयायालय के पास िड ी जारी करने की शि त होती है।

    सीमा पार यापार िव ुत यापार: िवधेयक म अ य देश के साथ िव ुत यापार को सुिवधाजनक बनानेऔर िवकिसत करने के िलये कई ावधान जोड़े गए ह।

    10/18

    https://www.drishtiias.com/hindi/daily-updates/daily-news-editorials/paris-agreement-3

  • िवतरण उप-लाइसस: आपिूत की गुणव ा म सुधार करने के िलये रा य िव ुत िनयामक आयोग कीअनुमित के साथ िड कॉम को अपने े के िकसी िवशेष िह से म िव ुत आपिूत सुिनि चत करने के िलयेएक अ य यि त को अिधकृत करने का अिधकार िड कॉम को एक िवक प के प म दान करने का

    ताव है। अपीलीय यायािधकरण को मज़बतू करना: मामल के विरत िनपटान की सुिवधा के िलये अपीलीययायािधकरण की सं या म वृि करना तािवत है।

    अपने आदेश को भावी ढंग से लाग ूकरने के िलये, इसे कंटे ट ऑफ कोट ए ट (Contempt ofCourts Act) के ावधान के तहत उ च यायालय की शि तयाँ देने का भी ताव है।

    आगे की राहतािवत िवधेयक कद सरकार को िव ुत े म टैिरफ और िनयम को िनधािरत करने के िलये और

    अिधक शि त दान करेगा। चूँिक िव ुत समवती सचूी का िवषय है, इसिलये रा य को इस संशोधन के मा यम से उनकी शि तयसे वंिचत नही ंकरना चािहये।

    ोत: PIB

    ICDS, PDS योजनाओं म मोटे अनाज का िवतरण

    ीिल स के िलये:रागी, वार, बाजरा का उ पादन

    मे स के िलये:मोटे अनाज का मह व

    चचा म यो?ंहाल ही म ओिडशा सरकार ने थानीय प से उ पािदत रागी को ‘एकीकृत बाल िवकास सेवा’ (IntegratedChild Development Services- ICDS) योजना तथा ‘सावजिनक िवतरण णाली’ (Public DistributionSystem-PDS) म शािमल करने का िनणय िलया है।

    मुख:यह पहल उड़ीसा रा य ारा वष 2017 म ारंभ िमलेट िमशन (Millet Mission) का िह सा है।िमलेट िमशन के तहत उड़ीसा सरकार ारा मोटे अनाज की खेती को ो सािहत िकया जा रहा है। ICSD तथा PDS योजना के तहत रागी का िवतरण रा य के कुछ िज़ल म मश: जुलाई तथा िसतंबरमाह से शु िकया जाएगा।

    11/18

    https://www.drishtiias.com/hindi/daily-updates/daily-news-analysis/cabinet-approves-continuation-of-sub-schemes-under-umbrellahttps://www.drishtiias.com/hindi/daily-updates/daily-news-editorials/pds-technology-centric-solutions-are-worrisome

  • मोटे अनाज का मह व:सावजिनक िवतरण णाली म शािमल करना:

    ICDS, PDS, िमड-डे मील और सरकार ारा संचािलत छा ावास म सावजिनक खा णािलय केिह से के प म मोटे अनाज को शािमल िकया जाएगा।

    मोटे अनाज की खेती को ो साहन:

    फसल ित प म बदलाव के कारण मोटे अनाज के थान पर अ य फसल का उ पादन िकया जा रहा है।अत: िकसान के बीच मोटे अनाज के उ पादन को लोकि य बनाने के िलये सरकार ारा अनेक ो साहनउपाय का सहारा िलया जा रहा है।

    पोषण सुर ा:‘रा टीय पिरवार वा य सव ण’ (National Family Health Survey- NFHS), 2015-16 केअनुसार, ओिडशा म लगभग 45% ब चे कुपोषण से गिसत ह तथा लगभग 41% मिहलाओं का ‘बॉडीमास इंडे स’ (Body Mass Index- BMI) सामा य से कम है।मोटे अनाज ोटीन, वसा, खिनज त व, फाइबर, काबोहाइडेट, ऊजा कैलोरी, कैि शयम, फा फोरस,आयरन, कैरोटीन, फोिलक ऐिसड, िजंक तथा एिमनो एिसड आिद के बेहतर ोत माने जाते ह। अत: बेहतर आहार िविवधता तथा पोषण संबंधी सम याओं का समाधान करने की दृि ट से मोटे अनाजका बहुत मह व है।

    पािरि थितकी अनुकूल कृिष णाली:मोटे अनाज की खेती करने के अनेक लाभ ह, जैसे:

    सखूा सहन करने की मता; फसल पकने की कम अविध;जलवायु सुन य कृिष णाली;कृिष-पािरि थितकी (Agroecological) के अनुकूल;कम रासायिनक त व की मांग;थानीय प से सतत ्खा णाली।

    रागी के िलये उड़ीसा सरकार ारा ो साहन:उड़ीसा म रागी की जैिवक खेती को ो सािहत करने के िलये िकसान को जैव-आदान को अपनाने के िलयेो सािहत िकया जा रहा है। िकसान को तीन वष के िलये िन नानुसार ो साहन रािश दी जा रही है।

    थम वष म 5,000 पए ित हे टेयर, दसूरे वष म 3,000 पए ित हे टेयर तीसरे वष म 1,500 पए की ो साहन रािश दी जा रही है।

    उड़ीसा म रागी का उ पादन:

    12/18

    https://www.drishtiias.com/hindi/daily-updates/daily-news-analysis/national-family-health-surveyhttps://www.drishtiias.com/hindi/daily-updates/daily-news-analysis/lancet-study-links-high-bmi-diabetes-to-cancer

  • वतमान म चार िज़ल - कालाहांडी, कोरापुट, मलकानिगरी और रायगडा- म अितिर त रागी का उ पादनहोता है। इस अितिर त रागी को रा य के अ य िज़ल म आव यकता के अनुसार पुनिवतिरत िकयाजाएगा।

    िन कष:सामा यत: कृिष म ह त ेप काय म बाज़ार को यान म रखकर लाग ूिकये जाते ह और घरेल ूपोषणऔर खा सुर ा की उपे ा की जाती है। परंतु उड़ीसा सरकार का यह कदम पोषण तथा खा सुर ा कोभी उतना ही मह व देता है।

    मोटा अनाज:वार, बाजरा और रागी भारत म उगाए जाने वाले मु य मोटे अनाज ह। इनम पोषक त व की मा ा

    अ यिधक होती है। रागी:

    रागी शु क देश म उगाई जाने वाली मुख फसल है। यह लाल, काली, बलुआ, दोमट औरउथली काली िमट्टी म अ छी तरह उगाई जाती है। रागी के मुख उ पादक रा य कनाटक, िहमाचल देश, उ राख ड, िसि कम, झारखंड औरअ णाचल देश ह। रागी म चुर मा ा म लोहा, कैि शयम, तथा अ य सू म पोषक त व होते ह।यह कैि शयम का सबसे बड़ा ोत है।

    वार:े फल और उ पादन की दृि ट से वार देश की तीसरी मह वपणू खा ा न फसल है। यह फसल

    वषा पर िनभर होती है। अिधकतर आद े म उगाए जाने के कारण इसके िलये िसंचाई की आव यकता नही ंहोती है। मुख उ पादक रा य महारा ट, कनाटक, म य देश ह।वार म ोलिमन (कैिफिरन) नामक ोटीन ा त होता है िजसका भोजन के पाचन मता की दृि ट से

    मह व है।बाजरा:

    यह बलुआ और उथली काली िमट्टी म उगाया जाता है। राज थान, उ र देश, गुजरात, इसकेमु य उ पादक रा य ह।इसम ोटीन का उ च अनुपात (12-16%) के साथ ही िलिपड (4-6%) तथा फाइबर 11.5% पायाजाता है।

    ोत: डाउन टू अथ

    उ राखंड ारा भिूम ह तांतरण को मंज़रूी

    13/18

  • ीिल स के िलये:गंगो ी रा टीय उ ान, भारत-ित बत सीमा पुिलस

    मे स के िलये:सीमा े म आधािरक संरचना का िवकास और भारत के िहत

    चचा म यो?ंहाल ही म गंगो ी रा टीय उ ान (Gangotri National Park) म सड़क के िवकास के िलये उ राखंड रा यव यजीव सलाहकार बोड (Uttarakhand State Wildlife Advisory Board) ने वन भिूम के ह तांतरण वाले

    ताव को मंज़रूी दी है।

    गौरतलब है िक यह िनणय भारत एवं चीन के म य ल ाख म वा तिवक िनयं ण रेखा (LAC) पर तनाव केम ेनज़र िलया गया है।

    मुख िबंदु:इन ताव के तहत गंगो ी नेशनल पाक (Gangotri National Park) के तीन अलग-अलग थलपर कुल 73.36 हे टेयर वन भिूम अलग-अलग सड़क (कुल लंबाई 35.66 िकमी.) के िनमाण के िलयेह तांतिरत की जाएगी।उ लेखनीय है िक गंगो ी नेशनल पाक एक संरि त े है और सड़क के िनमाण के िलये ह तांतिरत कीजाने वाली वन भिूम चीन के साथ सटी अंतरा टीय सीमा के पास है।रा टीय सुर ा के िलये ये माग बहुत मह वपणू सािबत ह गे य िक ये चीन सीमा के पास भारत-ित बतसीमा पुिलस (ITBP) के किमय की आवाज़ाही को आसान बना दगे।अब इन सड़क के िलये भिूम ह तांतरण से संबंिधत ताव रा टीय व यजीव बोड (National Boardfor Wildlife) को भेजे जाएंगे।

    गंगो ी नेशनल पाक (Gangotri National Park):इसे वष 1989 म थािपत िकया गया था और यह उ राखंड के उ रकाशी िज़ले म भागीरथी नदी(Bhagirathi River) के ऊपरी जलगहण े ि थत है।गंगो ी लेिशयर पर गंगा नदी का उदग्म थल गौ-मुख इस पाक के अंदर ि थत है।इस पाक के तहत आने वाला े गोिवंद रा टीय उ ान (Govind National Park) और केदारनाथव यजीव अभयार य (Kedarnath Wildlife Sanctuary) के बीच एक जीवंत िनरंतरता (ViableContinuity) बनाता है।वन पित: यह पाक घने शंकुधारी वनो ंसे िघरा हुआ है िजनम यादातर समशीतो ण वन ह। इस पाक कीसामा य वन पितयो ंम िचरपाइन, देवदार, फर, सू, ओक एवं रोडोडडॉन शािमल ह।जीव-जंतु: इस पाक म िविभ न दुलभ एवं लु त ाय जाितयाँ जैसे- नीली भेड़, काले भाल,ू भरेू भाल,ूिहमालयन मोनल, िहमालयन नोकॉक, िहमालयन तहर, क तरूी मृग और िहम तदुए पाई जाती ह।

    भारत-ित बत सीमा पुिलस14/18

    https://www.drishtiias.com/hindi/daily-updates/daily-news-analysis/70-years-to-india-china-diplomatic-relationshttps://www.drishtiias.com/hindi/daily-updates/daily-news-analysis/increase-in-transgressions-by-chinahttps://www.drishtiias.com/hindi/loksabha-rajyasabha-discussions/national-board-for-wildlife

  • (Indo-Tibetan Border Police- ITBP):

    कदीय सश पुिलस बल (Central Armed Police Force-CAPF) म से एक भारत-ित बत सीमापुिलस (Indo-Tibetan Border Police) को 24 अ तबूर, 1962 को गिठत िकया गया था।ITBP को ल ाख के काराकोरम दर से लेकर अ णाचल देश म जाचेप ला (Jachep La) तक 3488िकलोमीटर की भारत-चीन सीमा पर ‘बॉडर गािडगं ड ूटी’ के िलये तैनात िकया गया है।ITBP एक िवशेष पवतीय बल (Mountain Force) है और इसके अिधकांश अिधकारी एवं कमचारीपेशेवर प से िशि त पवतारोही एवं कीयर (Skiers) ह।ाकृितक आपदाओं के िलये ाथिमक उ रदाता होने के नाते ITBP देश भर म कई बचाव एवं राहत

    अिभयान चला रहा है।इसका मु यालय नई िद ली म है।नवंबर 2019 म भारत सरकार के गृह मं ालय ने असम राइफ स (Assam Rifles) को ITBP के साथिवलय करने का ताव िदया था।

    ोत: इंिडयन ए स ेस

    धानमं ी गरीब क याण अ न योजना का िव तार

    ीिल स के िलये:धानमं ी गरीब क याण अ न योजना

    मे स के िलये:धानमं ी गरीब क याण अ न योजना

    चचा म यो?ंहाल ही म रा य ारा ' धानमं ी गरीब क याण अ न योजना' (Pradhan Mantri Garib Kalyan AnnaYojana- PMGKAY) के िव तार की मांग को देखते हुए योजना की अविध को नवंबर, 2020 के अंत तक बढ़ािदया गया है।

    मुख िबंदु:सरकार ारा योजना के िव तार पर 90,000 करोड़ पए से अिधक का यय िकया जाएगा।‘सावजिनक िवतरण णाली’ का लाभ देश के सभी नागिरक की ा त हो सके इसके िलये ‘एक रा ट, एकराशन काड’ की यव था का िव तार शीघ ही परेू देश म िकया जाएगा।1 जनू, 2020 तक ‘एक रा ट, एक राशन काड’ योजना को 20 रा य /संघ शािसत े म लाग ूिकया जाचुका है। 31 माच, 2021 तक सभी शेष रा य भी इस योजना से जुड़ जाएंगे।

    15/18

    https://www.drishtiias.com/hindi/daily-updates/daily-news-analysis/retirement-age-for-central-forces-is-60https://www.drishtiias.com/hindi/daily-updates/daily-news-analysis/assam-rifles-and-indo-tibetan-border-policehttps://www.drishtiias.com/hindi/daily-updates/daily-news-editorials/pds-technology-centric-solutions-are-worrisomehttps://www.drishtiias.com/hindi/daily-updates/daily-news-analysis/one-nation-one-ration-card-scheme

  • धान मं ी गरीब क याण अ न योजना (PMGKAY): PMGKAY, COVID-19 महामारी के िखलाफ लड़ाई म ‘ धानमं ी गरीब क याण पैकेज’ (PradhanMantri Garib Kalyan Package-PMGKP) का एक िह सा है।योजना के तहत 80 करोड़ राशन काडधारक को कवर िकया गया है। योजना की घोषणा तीन महीने (अ ैल, मई और जनू) के िलये की गई थी।योजना के तहत येक यि त को ‘रा टीय खा सुर ा अिधिनयम’ (National Food Security Act-NFSA) के तहत दान िकये 5 िकलो अनुदािनत अनाज (गेहू ंया चावल) के अलावा 5 िकलोगाम मु तखा ा न दान िकया जाएगा।

    े ीय ाथिमकताओं के अनुसार, लाभािथय को मु त म 1 िकलो दाल भी दान की गई है।

    योजना का दशन:कदीय खा और सावजिनक िवतरण मं ालय (Union Ministry of Food and PublicDistribution) के अनुसार, योजना के तहत कुल 116.02 लाख मीिटक टन (LMT) खा ा न कािवतरण िकया गया है।

    माह िवतरण ल य की ाि त ( ितशत म) लाभािथयो ंकी सं या

    अ ैल 93% 74.05 करोड़

    मई 91% 72.99 करोड़

    जनू 71% 56.81 करोड़

    खा टॉक की उपल धता:कद सरकार के अनुसार, ‘भारतीय खा िनगम’ (Food Corporation of India- FCI) के पास पया तमा ा म खा ा न का भंडार है। FCI के पास 266.29 LMT चावल और 550.31 LMT गेहू ंका टॉकउपल ध है (जनू 2020)।जबिक येक महीने, राशन काडधारक को िवतरण के िलये केवल 55 LMT खा ा न की आव यकताहोती है।

    सम या के िबंदु:पया त खा ान टॉक होने के बावजदू अ ैल, 2020 म PMGKAY के तहत लगभग 200 िमिलयनलाभािथय को अितिर त खा ा न और दाल के िवतरण का लाभ नही ंिमला।अ ैल, 2020 म सरकार ारा अ कोहल-आधािरत हड सैिनटाइज़र बनाने के िलये अिधशेष चावल कोइथेनॉल म बदलने की अनुमित दी गई थी। मानसनू की शु आत के साथ, खा ा न के खराब होने का खतरा है।

    16/18

    https://www.drishtiias.com/hindi/current-affairs-news-analysis-editorials/news-editorials/28-03-2020https://www.drishtiias.com/hindi/daily-updates/daily-news-editorials/available-accessible-but-not-stablehttps://www.drishtiias.com/hindi/important-institution/national-organization/food-corporation-of-india

  • आगे की राह:PMGKAY के तहत िकये जाने वाले खा ा न िवतरण को तब तक जारी रखना चािहये जब तक िकCOVID-19 महामारी का भाव कम न हो जाए। ‘एक रा ट, एक राशन काड’ योजना के संबंध म यापक जाग कता अिभयान चलाए जाने कीआव यकता है तािक सभी वािसत िमक योजना का लाभ उठा सके।

    ोत: द िहंदू

    Rapid Fire (करट अफेयस): 01 जुलाई, 2020

    ‘ए सीलेरेट िव ान’ योजनादेश म वै ािनक शोध की गित को तीव करने और िव ान के े म काय करने हेतु मानव संसाधन का िनमाणकरने के उ े य से िव ान और ौ ोिगकी िवभाग (DST) के सांिविधक िनकाय िव ान एवं इंजीिनयरीअनुसंधान बोड (Science and Engineering Research Board -SERB) ारा ‘ए सीलेरेट िव ान’ योजना(Accelerate Vigyan Scheme) की शु आत की गई है। यह योजना िव ान के े म कैिरयर बनाने के इ छुकछा को िरसच इंटनिशप, मता िनमाण काय म और कायशालाओं से संबंिधत एक मंच दान करने केउ े य से शु की गई है। उ लेखनीय है िक एक अंतर-मं ालयी (Inter-Ministerial) योजना के प म‘ए सीलेरेट िव ान’ योजना की शु आत यह मानते हुए की गई है िक अनुसंधान की गुणव ा उससे जुड़ेिशि त अनुसंधानक ाओं के िवकास पर आधािरत होती है। यह योजना अनुसंधान की संभावनाओं, परामश,िश ण और यावहािरक काय िश ण की पहचान करने की कायिविध को सुदृढ़ बनाने के िलये रा टीय तर पर

    काय करेगी। इस योजना के तीन यापक ल य म वै ािनक काय म का एक ीकरण, संसाधन /सुिवधाओं सेदरू अनुसंधान िश ुओं के िलये तरीय कायशालाओं की शु आत और अवसर का सृजन करना शािमल है।गौरतलब है िक िव ान एवं इंजीिनयरी अनुसंधान बोड ज द ही इस काय म से संबंिधत एक एप भी शुकरेगा। इस योजना के अंतगत िविभ न िवषय पर किदत उ च तरीय कायशालाओं का आयोजन िकयाजाएगा, िजससे आगामी पाँच वषो ंम करीब 25 हजार पो ट गेजुएट (Postgraduate) एवं पीएचडी (PhD)छा को आगे बढ़ने का अवसर िमल सकेगा।

    रा टीय िचिक सक िदवसभारत म येक वष 01 जुलाई को रा टीय िचिक सक िदवस (National Doctor's Day) मनाया जाता है, इसिदवस के आयोजन का मु य उ े य समाज के ित िचिक सक के योगदान और उनकी ितब ता के िलये उनकाआभार य त करना है। यात य है िक भारतीय समाज म िचिक सक को भगवान के समान दज़ा िदया जाता है।भारत म रा टीय िचिक सक िदवस के आयोजन की शु आत सव थम वष 1991 म हुई थी, तभी से येक वष 01जुलाई को रा टीय िचिक सक िदवस मनाया जाता है। इस िदवस का आयोजन पि चम बंगाल के दसूरे मु यमं ीऔर िचिक सक डॉ. िबधानचंद रॉय के स मान म िकया जाता है। डॉ. िबधानचंद रॉय का ज म 01 जुलाई, 1882 कोहुआ था और संयोगवश उनकी मृ यु भी 01 जुलाई 1962 को ही हुई थी। डॉ. िबधानचंद रॉय एक यात भारतीयिचिक सक, िश ािवद, वतं ता सेनानी और राजनीित थे, िज ह ने वष 1948 से वष 1962 म अपनी मृ यु तक

    17/18

  • पि चम बंगाल के मु यमं ी के प म अपनी सेवाएँ दी।ं मौजदूा महामारी के दौर म िव व भर म िचिक सक कामह व और अिधक बढ़ गया है, सभी िचिक सक थम पंि त म खड़े होकर कोरोना वायरस (COVID-19) केिखलाफ जंग लड़ रहे ह।

    नेशनल चाटड एकाउटंट्स िदवसभारत म ितवष 01 जुलाई को नेशनल चाटड एकाउंटट्स िदवस (National Chartered AccountantsDay) के प म मनाया जाता है। इस िदवस के आयोजन का मुख उ े य एक पारदशी अथ यव था सुिनि चतकरने म चाटड एकाउंटट्स (CA) की भिूमका को रेखांिकत करना है। इस िदवस का आयोजन इं टीट ूट ऑफचाटड अकाउंटट्स ऑफ इंिडया (Institute of Chartered Accountants of India-ICAI) की थापना केउपल य म मनाया जाता है। ICAI भारत का रा टीय पेशेवर लेखा िनकाय है और िव व का दसूरा सबसे बड़ालेखा संगठन (Accounting Organization) है। इं टीट ूट ऑफ चाटड अकाउंटट्स ऑफ इंिडया (ICAI) कीथापना 01 जुलाई, 1949 को संसद म पािरत एक अिधिनयम के मा यम से की गई थी। यात य है िक ICAI

    भारत म िव ीय ऑिडट (Financial Audit) और लेखा (Accounting) पेशे के िलये एकमा लाइसिसंग औरिनयामक िनकाय है। एक पेशे के प म चाटड एकाउंटट्स (CA) के इितहास को िबिटश काल से खोजा जा सकताहै। िबिटश सरकार ने सव थम वष 1913 म कंपनी अिधिनयम पािरत िकया था, इसम उन पु तक की एक िनधािरतसचूी थी, िज ह अिधिनयम के तहत पंजीकृत येक कंपनी को बनाए रखना अिनवाय था। इसके अलावा,अिधिनयम म एक ऑिडटर की िनयुि त का भी ावधान िकया गया था, िजसके पास सभी पु तक के िनरी ण कीशि तयाँ थी।ं

    ला मा बकहाल ही म िद ली सरकार ने कोरोना वायरस (COVID-19) से सं िमत लोग की सहायता के िलये एक ला माबक (Plasma Bank) थािपत करने की घोषणा की है। मु यमं ी अरिवंद केजरीवाल के अनुसार, िद ली मथािपत होने वाला यह ला मा बक देश भर म अपनी तरह का पहला बक होगा। साथ ही मु यमं ी ने COVID-

    19 से ठीक हो चुके मरीज़ से ला मा दान देने की भी अपील की है। इस संबंध म ला मा दानक ाओं के िलयेएक िवशेष हे पलाइन भी जारी की जाएगी। िद ली का यह ला मा बक भी लड बक (Blood Bank) की तरहही काय करेगा और यहाँ COVID-19 सं मण से उबर चुके मरीज़ अपने ला मा दान कर सकगे, वही ंवायरस सेसं िमत लोग यहाँ से ला मा ा त कर सकगे। िद ली, ला मा थेरेपी के साथ परी ण करने के िलये ICMRसे मंज़रूी ा त करने वाले कुछ िविश ट रा य म से एक है। गौरतलब है िक इस इस प ित के अंतगत व थ होचुके COVID-19 के रोिगय के शरीर से लाज◌़्मा को ा त िकया जाता है तथा रोगी के शरीर म इ ह िव टकराकर उसका उपचार िकया जाता है। परी ण म पाया गया है िक यह उपचार गंभीर रोिगय पर उतना भावनही ंहै, हालाँिक कम ल ण वाले रोिगय पर इसकी िति या काफी सकारा मक रही है।

    18/18

    https://www.drishtiias.com/hindi/printpdf/need-to-amend-rules-related-to-charated-accountant

    डेली न्यूज़ (01 Jul, 2020)स्टेट ऑफ द वर्ल्ड पॉपुलेशन, 2020 रिपोर्टप्रीलिम्स के लिये:मेन्स के लिये:चर्चा में क्यों?प्रमुख बिंदु:भारत की स्थिति:कमी के कारण:स्रोत: द हिंदू

    विवादित क्षेत्र: गलवान घाटीप्रीलिम्स के लियेमेन्स के लियेचर्चा में क्यों?प्रमुख बिंदुकहाँ है गलवान घाटी?वास्तविक नियंत्रण रेखा (LAC)चीन का दावामानचित्र के आधार पर क्षेत्र का निर्धारणस्रोत: द हिंदू

    नमामि गंगे परियोजनाप्रीलिम्स के लिये:मेन्स के लिये:प्रमुख बिंदु:ऋण/ फंड का उपयोग:नमामि गंगे परियोजना:स्रोत: द हिंदू

    ऑनलाइन शिक्षा: चुनौती और संभावनाएँप्रीलिम्स के लियेमेन्स के लियेचर्चा में क्यों?प्रमुख बिंदुऑनलाइन शिक्षा और COVID-19ई-लर्निंग अथवा ऑनलाइन शिक्षाऑनलाइन शिक्षा की सीमाएँ और चुनौतियाँआगे की राहस्रोत: द हिंदू

    MyGov कोरोना हेल्पडेस्क को CogX- 2020 पुरस्कारप्रीलिम्स के लिये:मेन्स के लिये:चर्चा में क्यों?प्रमुख बिंदु:CogX:MyGov:MyGov कोरोना हेल्पडेस्क:निष्कर्ष:स्रोत: पीआईबी

    विद्युत (संशोधन) विधेयक 2020प्रीलिम्स के लियेमेन्स के लियेचर्चा में क्यों?प्रमुख बिंदुउद्देश्यमुख्य संशोधनआगे की राहस्रोत: PIB

    ICDS, PDS योजनाओं में मोटे अनाज का वितरणप्रीलिम्स के लिये:मेन्स के लिये:चर्चा में क्यों?प्रमुख:मोटे अनाज का महत्त्व:पोषण सुरक्षा:पारिस्थितिकी अनुकूल कृषि प्रणाली:रागी के लिये उड़ीसा सरकार द्वारा प्रोत्साहन:उड़ीसा में रागी का उत्पादन:निष्कर्ष:मोटा अनाज:स्रोत: डाउन टू अर्थ

    उत्तराखंड द्वारा भूमि हस्तांतरण को मंज़ूरीप्रीलिम्स के लिये:मेन्स के लिये:चर्चा में क्यों?प्रमुख बिंदु:गंगोत्री नेशनल पार्क (Gangotri National Park):भारत-तिब्बत सीमा पुलिस(Indo-Tibetan Border Police- ITBP):स्रोत: इंडियन एक्सप्रेस

    प्रधानमंत्री गरीब कल्याण अन्न योजना का विस्तारप्रीलिम्स के लिये:मेन्स के लिये:चर्चा में क्यों?प्रमुख बिंदु:प्रधान मंत्री गरीब कल्याण अन्न योजना (PMGKAY):योजना का प्रदर्शन:खाद्य स्टॉक की उपलब्धता:समस्या के बिंदु:आगे की राह:स्रोत: द हिंदू

    Rapid Fire (करेंट अफेयर्स): 01 जुलाई, 2020‘एक्सीलेरेट विज्ञान’ योजनाराष्ट्रीय चिकित्सक दिवसनेशनल चार्टर्ड एकाउंटेंट्स दिवसप्लाज़्मा बैंक