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  • डेली यूज़ (21 Mar, 2020)drishtiias.com/hindi/current-affairs-news-analysis-editorials/news-analysis/21-03-2020/print

    कूल बदं के दौरान छा के लये खा सुर ा भ ा

    ी ल सी ल स केके लयेलये:िमड-डे काय म, COVID-19

    मे समे स केके लयेलये:भारत म खा सुर ा से संबंधत मु े

    चचाचचा मम यय ?मानव संसाधन िवकास मं ालय (MHRD) ने सभी रा य सरकार से क ा 1 से 8 तक के सभी छा के लये िमड-डे मील(MDM) काय म को जारी रखने या उ ह खा सुर ा भ ा दान करने को कहा ह।ै

    मुखमुख बदुबद:ुयात य ह ैिक क सरकार ने बीते िदन 16 माच को कोरोनावायरस (COVID-19) के सार को रोकने के उ े य सेकूल म देश यापी बदं क घोषणा क थी, वहीँ िद ी और केरल जसेै रा य /क शा■सत देश ने सरकार के इसआदेश से पूव ही 31 माच तक कूल को बदं कर िदया था।इसके अलावा केरल, छा को उनके घर पर पहले से ही िमड-डे मील दान करने क यव था कर चुका ह।ै केरलसरकार का अनुसरण करते हुए प म बगंाल ने भी इसी कार के उपाय अपनाने क घोषणा क ह।ैसव यायालय ने भी इस िदशा म सं ान लेते हुए सभी रा य सरकार को नोिटस जारी कर यह पूछा था िक वे िकसकार कूल के बदं रहने के दौरान दोपहर के भोजन को सुिन त करगे।

    कारणकारणभारत सिहत संपूण िव मौजूदा समय म कोरोनावायरस (COVID-19) महामारी के कारण किठन प र थतय कासामना कर रहा ह।ै

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  • आँकड़ के अनुसार, वै क तर पर इस वायरस के कारण अब तक 10000 से भी अधक लोग क मृ य ुहो चुक ह।ैभारत के संदभ म इस वै क महामारी क बात कर तो नवीनतम आँकड़ के अनुसार, भारत म अब तक 250 सेअधक मामले सामने आ चुके ह।यह वायरस वै क समाज के सम एक बड़ी चुनौती के प म उभर रहा ह ैऔर इससे िनपटने के लये दिुनया भर कसरकार ारा तमाम कदम उठाए जा रहे ह।कूल को बदं करने का िनणय इसी िदशा म एक मह वपूण कदम क तरह देखा जा रहा ह।ै कूल म पढने वाले बको इस वायरस के त काफ संवेदनशील माना जाता ह,ै ■जसके कारण उ ह इसक चपेट म आने से बचाना आव यकह।ैहालाँिक आँकड़े बताते ह िक देश का एक वग ऐसा भी ह ैजो आव यक पोषक त व और आहार क ाि के लये मु यप से कूल से िमलने वाले भोजन पर िनभर रहता ह ैऔर यिद कूल को लबें समय के लये बदं कर िदया जाता ह ैतो

    उन ब के सम एक बड़ी सम या उ प हो सकती ह।ै

    संबंधतसंबंधत िनयमिनयमिमड-डे मील (MDM) 2015 के अनुसार, यिद खा ा क कमी, खाना पकाने क लागत, ईधंन या कुक (Cook) कअनुपल धता के कारण छा को भोजन उपल ध नह कराया जा सका ह ैतो ऐसी थत म सरकार से यह उ मीद कजाती ह ैिक वह येक ब े को खा सुर ा भ ा दान करगेी।

    िमडिमड-डेडे मीलमील काय मकाय मिमड-डे मील काय म को एक क ीय ायो■जत योजना के प म 15 अग त, 1995 को पूर ेदेश म लागू िकया गयाथा।इसके प ात् ■सतबंर 2004 म काय म म यापक प रवतन करते हुए मेनू आधा रत पका हुआ गम भोजन देने कयव था ारभं क गई।इस योजना के तहत यूनतम 200 िदन हेतु िन न ाथिमक तर के लये तिदन यूनतम 300 कैलोरी ऊजा एवं 8-12 ाम ोटीन तथा उ ाथिमक तर के लये यूनतम 700 कैलोरी ऊजा एवं 20 ाम ोटीन देने का ावधान ह।ैिमड-डे मील योजना म सरकारी कूल , सरकारी सहायता ा कूल , िवशेष श ण क के क ा 1 से 8 तक मपढ़ने वाले सभी कूली छा को शािमल िकया गया ह,ै ■जनम सम श ा अभयान के तहत समथत मदरसे भीशािमल ह।आँकड़ के अनुसार, वतमान म देश के लगभग 9.17 करोड़ छा इस योजना का लाभ ा कर रहे ह।ै

    आगेआगे कक राहराहिव वा य संगठन (WHO) ने कोरोनावायरस (COVID-19) को वै क महामारी घोिषत कर िदया ह,ै यह वायरसवै क समुदाय के सम एक बड़ी चुनौती के प म उभर रहा ह।ैभारत सरकार ारा कूल को बदं करने और इस दौरान छा के लये िमड-डे मील योजना को जारी रखने अथवाखा ा भ ा दान करने का िनणय सराहनीय ह।ैआव यक ह ैिक वै क समुदाय इस महामारी से िनपटने के लये एक साथ एक मचं पर एकि त हो और इस संदभ मWHO तथा शासन ारा जारी िवभ िदशा-िनदश का पालन िकया जाए।

    ोतोत: इंडयनइंडयन ए स ेसए स ेस

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  • धानमं ी रोज़गार सृजन काय म

    ी ल सी ल स केके लयेलये:धानमं ी रोज़गार सृजन काय म, खादी और ामो ोग आयोग, सू म, लघु एवं म यम उ ममं ालय

    मे समे स केके लयेलये:धानमं ी रोज़गार सृजन काय म से संबंधत िवषय

    चचाचचा मम यय ?हाल ही म लोकसभा म सू म, लघु एवं म यम उ म मं ालय (Ministry Of Micro, Small and MediumEnterprises-MSME) ारा ‘ धानमं ी रोज़गार सृजन काय म’ (Prime Minister’s Employment GenerationProgramme- PMEGP) से संबंधत मु पर चचा क गई।

    मुखमुख बदुबद:ुPMEGP ‘खादी और ामो ोग आयोग’ (Khadi and Village Industries Commission- KVIC), रा यखादी और ामो ोग बोड (State Khadi and Village Industries Board- KVIB) और िज़ला उ ोग क(District Industries centres- DIC) ारा काया वत क जा रही ह।ैPMEGP एक मुख े डट ल ड स सडी काय म ह,ै ■जसका उ े य पारपं रक कारीगर और बेरोज़गार यवुाओं कमदद कर गरै-कृिष े म सू म उ म क थापना के मा यम से वरोज़गार के अवसर पदैा करना ह।ैइस काय म के तहत सावजिनक े के सभी बक , िनजी े के कुछ चयिनत बक और सहकारी बक ारा KVIC केमा यम से MSME मं ालय ारा मा■जन मनी स सडी (Margin Money Subsidy) के साथ ऋण दान िकयाजाता ह।ैPMEGP के तहत वष 2019-20 के दौरान सू म उ म को थािपत करने के लये 79236 लाभाथय क सहायताकरने का ल य िनधा रत िकया गया ह,ै ■जनम से 15 माच, 2020 तक 54361 लाभाथय को पहले ही सहायता दीजा चुक ह।ै

    पा तापा ता हेतुहेतु मानदडंमानदडं:18 वष से अधक आय ुका कोई भी यि इस योजना के तहत आवेदन करने का पा ह।ैिविनमाण े म प रयोजना क अधकतम लागत 25 लाख पए और सेवा े म 10 लाख पए ह।ैकेवल नई इकाइय क थापना हेतु PMEGP के तहत लाभ ा िकया जा सकता ह।ै सामा य ेणी के लाभाथ ‘ ामीण े म प रयोजना लागत का 25% ऋण और शहरी े म प रयोजना लागत का15% ऋण’ ा कर सकते ह।अनुसूचत जात/जनजात, अ य िपछड़ा वग, अ पसं यक , मिहलाओं, भूतपूव सिैनक , िद यांग , पहाड़ी और सीमाे आिद से संबंधत लाभाथ ‘ ामीण े म प रयोजना क लागत का 35% ऋण और शहरी े म प रयोजना

    लागत का 25% ऋण’ ा कर सकते ह।

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  • MSME मं ालय ने मौजूदा PMEGP/MUDRA इकाइय के िव तार/उ यन के लये दसूरी िव ीय सहायता का एकनया घटक भी पेश िकया ह ै■जसम वष 2018-19 से िविनमाण इकाई क प रयोजना लागत 1 करोड़ पए एवंसेवा/ यापार इकाई क प रयोजना लागत 25 लाख पए पर 15% ऋण ा कर सकते ह।

    काय मकाय म केके तहततहत आवंिटतआवंिटत औरऔर िवत रतिवत रत िकयेिकये गएगए ऋणऋण काका िववरणिववरण िन न ल खतिन न ल खत हैहै:

    वषवष आवंिटतआवंिटत ऋणऋण (करोड़करोड़ पएपएमम)

    ऋणऋण काका िवतरणिवतरण (करोड़करोड़ पएपएमम)

    2016-17 1082.90 1280.94

    2017-18 1082.90 1312.40

    2018-19 2068.80 2070.00

    2019-20(15/03/2020 तक)

    2396.44 1622.50

    खादीखादी औरऔर ामो ोगामो ोग आयोगआयोग

    (Khadi and Village Industries Commission):

    यहयह 'खादीखादी एवंएवं ामो ोगामो ोग आयोगआयोग अधिनयमअधिनयम, 1956' केके तहततहत एकएक सांिवधकसांिवधक िनकायिनकाय (Statutory Body) हैहै। यहयह भारतभारत सरकारसरकार केके सू मसू म, लघुलघु औरऔर म यमम यम उ मउ म मं ालयमं ालय (Ministry of MSME) केके अंतगतअंतगत आनेआने वालीवाली एकएकमु यमु य सं थासं था हैहै।उ े यउ े य:

    सामा■जकसामा■जक उ े यउ े य: रोज़गाररोज़गार देनादेना। आथक उ े य: िब ी यो य व तुओं का उ पादन करना। यापक उ े य: गरीब को आ मिनभर बनाना एवं एक मज़बूत ामीण सामुदायक भावना का िनमाण करना।

    सू मसू म, लघुलघु औरऔर म यमम यम उ मउ म:सू म, लघु और म यम उ म के संव न एवं िवकास को सरल एवं सुिवधाजनक बनाने हेतु 2 अ ू बर, 2006 कोसू म, लघु और म यम उ म िवकास अधिनयम (MSMED Act), 2006 िविनयिमत िकया गया था। इस अधिनयमके तहत MSMEs को िन न ल खत दो भाग म वग कृत िकया गया ह:ै

    1. िविनमाणिविनमाण ेे केके उ मउ म- इसम उ म को संयं और मशीनरी (Plant & Machinery) म िकये गए िनवेश के संदभ मप रभािषत िकया गया ह।ै

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  • उ मउ म काका कारकार संयंसंयं एवंएवं मशीनरीमशीनरी मम िकयािकया गयागया िनवेशिनवेश ( पएपएमम)

    सू मसू म (Micro) 25 लाखलाख तकतक

    लघुलघु (Small) 25 लाखलाख सेसे अधकअधक कतुकतु 5 करोड़करोड़ सेसे कमकम

    म यमम यम (Medium) 5 करोड़ से अधक कतु 10 करोड़ से कम

    2. सेवासेवा ेे केके उ मउ म- सेवाएँसेवाएँ दानदान करनेकरने मम लगेलगे उ मउ म कोको उपकरणउपकरण (Equipment) मम िनवेशिनवेश केके संदभसंदभ मम प रभािषतप रभािषत िकयािकयाजाताजाता हैहै।

    उ मउ म काका कारकार उपकरणउपकरण मम िकयािकया गयागया िनवेशिनवेश ( पएपए मम)

    सू म (Micro) 10 लाख तक

    लघु (Small) 10 लाखलाख सेसे अधकअधक कतुकतु 2 करोड़करोड़ सेसेकमकम

    म यम(Medium)

    2 करोड़करोड़ सेसे अधकअधक कतुकतु 5 करोड़करोड़ सेसे कमकम

    ोतोत: पीआईबीपीआईबी

    वै क खशुहाली रपोट- 2020

    ी ल सी ल स केके लयेलये:वै क खशुहाली रपोट- 2020

    मे समे स केके लयेलये:वै क खशुहाली रपोट तथा इसकामह व

    चचाचचा मेमे यय ?हाल ही म सतत् िवकास समाधान नेटवक (Sustainable Development Solution Network- SDSN) ने वै कखशुहाली रपोट-2020 (World Happiness Report- 2020) जारी क ह।ै

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  • मु यमु य बदुबद:ु‘िव खशुहाली रपोट’ के आँकड़े वष 2018 एवं 2019 दौरान एकि त िकये गए थे, अत: यह रपोट कोरोनोवायरसबीमारी (COVID- 19) के सार को रोकने के लये लगाए गए यापक तबधं से भािवत नह हुई।SDSN ने वै क खशुहाली रपोट-2020 म 153 देश को शािमल िकया ह।ै

    शीषशीष देशदेश:सबसे खशुहाल देश म िफनलड शीष पर ह।ै दसूर ेऔर तीसर े थान पर मश: डेनमाक एवं वटज़रलड ह।

    भारतभारत कक थतथत:इस वष भारत का थान 144वाँ ह ैजो िपछले वष से 4 थान कम ह।ै भारत का थान अपने पड़ोसी देश नेपाल, पािक तान बां लादेश, ीलकंा, चीन से खराब थत म ह।ै

    िन नतरिन नतर थतथत वालेवाले देशदेश:र कग म सबसे नीचे थान पाने वाले देश हसक संघष एवं ती गरीबी से पीिड़त ह। िज़ बावे, द णी सूडान औरअफगािन तान को दिुनया के सबसे कम खशुहाल देश म थान िदया गया ह।ै

    खशुहालखशुहाल रारा काका अथअथ:जहाँ लोग म अपनेपन का अहसास, एक-दसूर ेपर भरोसा हो एवं साझा सं थान का (Shared Institutions)आनदं लेते ह, वे रा खशुहाल होते ह।इन रा म अधक सहन मता (Resilience) होती ह,ै य िक साझा-िव ास किठनाइय के बोझ को कम करता हैतथा व थ (well-being) समाज का िनमाण करता ह।ै

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  • नगरनगर एवंएवं खशुीखशुी (Cities and Happiness):नगर आथक ि याओं के क (Economic Powerhouses) होते ह। ती नगरीकरण के कारण नगर का मह वलगातार बढ़ रहा ह,ै अत: वै क खशुहाली रपोट म नगर को भी शािमल िकया गया ह।ैनगर के लये पहली बार ‘वै क खशुहाली र कग’ जारी क गई। यह र कग ‘द इकोनॉिम ट’ (The Economist’s)ारा जारी ‘ लोबल लवेिब लटी इडें स ’ (Global Liveability Index- GLI) से अलग ह ै य िक GLI 5 संकेतकके मा ा मक एवं गुणा मक िव ेषण पर आधा रत होता ह,ै जबिक ‘खशुहाल नगर सूचकांक’ नगरीय िनवा■सय ारािनधा रत भलाई (Well-Being) के मानक पर आधा रत ह।ै शीष 3 ‘खशुहाल नगर’ हेल↓सक (िफनलड), आरहूस(डेनमाक), वेलगटन ( यूज़ीलड) ह।

    रपोटरपोट केके बारेबारे मम:यह रपोट येक वष सतत् िवकास समाधान नेटवक (Sustainable Development Solution Network-SDSN) ारा काशत क जाती ह।ै

    वै क खशुहाली रपोट का काशन वष 2012 से शु हुआ था। इस वष इसका आठवाँ सं करण काशतिकया गया ह।ैखशुहाली को आँकने के लये सूचकांक म त यि सकल घरलेू उ पाद, किठन समय म यि को सामा■जकसुर ा, व थ जीवन क याशा, सामा■जक सरोकार, यि गत वतं ता तथा ाचार और उदारता कअवधारणा को आधार बनाया जाता ह।ै

    सतत्सतत् िवकासिवकास समाधानसमाधान नेटवकनेटवक:संयु रा के त वावधान म संयु रा सतत् िवकास समाधान नेटवक (Sustainable DevelopmentSolution Network- SDSN) वष 2012 से काम कर रहा ह।ैSDSN सतत् िवकास हेतु यावहा रक समाधान को बढ़ावा देने के लये वै क वै ािनक और तकनीक िवशेष ताजुटाता ह,ै ■जसम सतत् िवकास ल य और पे रस जलवाय ुसमझौते का काया वयन भी शािमल ह।ैSDSN संयु रा एज■सय , बहुप ीय िव पोषण सं थान , िनजी े और नाग रक समाज के साथ िमलकर कामकरता ह।ै

    ोतोत: इंडयनइंडयन ए स ेसए स ेस

    WTO पनैल क ■सफा रश को लागू करने के लये बा य नह भारत

    ी ल सी ल स केके लयेलये:िव यापार संगठन, िनयात संबधंी योजनाएँ, संयु रा य अमे रका के यापारतिनध

    मे समे स केके लयेलये:अतंरा ीय यापार िववाद संबधंी मु े

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    https://www.drishtiias.com/hindi/daily-updates/daily-news-analysis/global-liveability-index-2019

  • चचाचचा मम यय ?हाल ही म संसद को सूचत िकया गया ह ैिक भारत अपनी िनयात ो साहन योजनाओं पर WTO के िववाद िनपटान पनैल क■सफा रश को लागू करने के लये बा य नह ह,ै य िक भारत ने पनैल के इस आदेश को उ तर पर चुनौती दी ह।ै

    मुखमुख बदुबदुबीते वष 31 अ ू बर, 2019 को िव यापार संगठन (World Trade Organisation-WHO) के िववाद िनपटानपनैल ने िनणय िदया था िक भारत क िनयात संबधंी योजनाएँ (Export-Related Schemes) “स सडीस सडी एवंएवंतकारीतकारी उपायउपाय समझौतेसमझौते” के तहत िनिष स सडी (Prohibited Subsidies) क कृत म आती ह और िवयापार संगठन के मानदडं के साथ असंगत ह।

    WTO के िववाद िनपटान पनैल ने भारत को िवशेष आथक े (SEZ) योजना को वापस लेने के लये 180 िदन कसमय-सीमा दान क ह।ै

    याया हैहै िववादिववाद?दरअसल 14 माच, 2018 को संयु रा य अमे रका के यापार तिनध (United States TradeRepresentative-USTR) कायालय ने िव यापार संगठन (WTO) म भारत क िनयात संव न योजनाओं कोचुनौती दी थी। USTR का तक था िक इन योजनाओं के कारण असमान अवसर पदैा हो रहे ह, ■जससे अमे रक कंपिनय को नुकसानहो रहा ह।ै USTR के अनुसार, भारत स सडी एवं तकारी उपाय समझौते (Agreement on Subsidies andCountervailing Measures- SCM Agreement) के तहत क गई अपनी तब ताओं का उ ंघन कर रहाह।ैUSTR ने इस संदभ म भारत क 5 िनयात ो साहन योजनाओं (िनयात उ मुख इकाइय क योजनाएँ व े -िवशयोजनाएँ) का उ ेख िकया ह,ै जोिक िन न ल खत ह-

    इले टॉिन स हाडवेयर ौ ोिगक पाक योजना (Electronics Hardware Technology ParksScheme)भारत से मचडाइज़ िनयात के लये योजना (Merchandise Exports from India Scheme)िनयात संव न कैिपटल गु स संबधंी योजना (Export Promotion Capital Goods Scheme)िवशेष आथक े (Special Economic Zones)शु क मु आयात अधकार-प योजना (Duty free Import Authorization Scheme)

    USTR का मु य तक यह ह ैिक भारत क उपरो पाँच िनयात संव न योजनाएँ, SCM समझौते के ावधान 3.1 (A)और 3.2 का उ ंघन करती ह, य िक ये दोन ावधान िनयात स सडी देने पर रोक लगाते ह।

    यापारयापार िववादिववाद औरऔर भारतभारतसंसद म दी गई सूचना के अनुसार, भारत वतमान म WTO म कुल 15 यापार िववाद म शािमल ह,ै ■जनम सेअधकांश अमे रका के साथ ह। इन िववाद म से 4 म भारत शकायतक ा ह ैजबिक 11 िववाद म भारत तवादी ह।ै

    िविव यापारयापार संगठनसंगठन (WTO)

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  • िव यापार संगठन (World Trade Organization) िव म यापार संबधंी अवरोध को दरू कर वै क यापारको बढ़ावा देने वाला एक अंतर-सरकारी संगठन ह,ै ■जसक थापना वष 1995 म मराकेश संध के तहत क गई थी।इसका मु यालय ■जनेवा म ह।ै वतमान म िव के 164 देश इसके सद य ह।29 जुलाई, 2016 को अफगािन तान इसका 164वाँ सद य बना था।सद य देश का मिं तरीय स मेलन इसके िनणय के लये सव िनकाय ह,ै ■जसक बठैक येक दो वष मआयो■जत क जाती ह।ै

    संयुसंयु रा यरा य यापारयापार तिनधतिनध (USTR)संयु रा य यापार तिनध (USTR) एक अमे रक सं था ह,ै जो अमे रका के रा पत को यापार क नीतिवक■सत करने और अनुशसंा करने तथा ि प ीय और बहुप ीय तर पर यापार वाता के आयोजन तथा सरकार केभीतर यापार नीत के सम वयन के लये िज़ मेदार ह।ै

    ोतोत: इंडयनइंडयन ए स ेसए स ेस

    भारत: िव ुत का तीसरा बड़ा उ पादक

    ी ल सी ल स केके लयेलये:िव के शीष िव ुत उ पादक देश,IEA

    मे समे स केके लयेलये:ऊजा सुर ा

    चचाचचा मम यय ?‘अंतरा ीय ऊजा एजसी’ (International Energy Agency- IEA) ारा काशत ‘क व ड एनज टेिट स’ (KeyWorld Energy Statistics) के अनुसार, भारत िबजली उ पादन म तीसर े(वष 2019 म) तथा त यि िव ुत खपत केमामले म 106व थान (2017) पर रहा ह।ै

    मु यमु य बदुबद:ु1,497 टेरावाट-हॉवर (Terawatt-hour- TWh) िव ुत उ पादन के साथ भारत अमे रका एवं चीन के बाद दिुनयाका तीसरा बड़ा िव ुत उ पादक एवं उपभो ा देश ह।ै वतं ता के बाद से िव ुत उ पादन 100 गुना से अधक हो गया ह,ै परतंु आथक गतिवधय म वृ के कारण िव ुतक मांग, उ पादन से अधक रही ह।ै

    िविव केके शीषशीष िव ुतिव ुत उपभो ाउपभो ा देशदेश:9/14

  • संबंधतसंबंधत सरकारीसरकारी पहलपहल:सौभाग्सौभाग्यय योजनायोजना (Saubhagya Scheme):

    भारत सरकार ने देश म 40 िम लयन से अधक प रवार को िव ुत कने शन उपल ध कराने के उ े य से' धानमं ी सहज िबजली हर घर योजना' (Pradhan Mantri Sahaj Bijli Har Ghar Yojana) शुक ह।ै

    उ वलउ वल ड कॉमड कॉम ए योरसए योरस योजनायोजना (Ujwal Discom Assurance Yojana- UDAY): उदय योजना को िव ुत मं ालय ने रा य ड कॉम क खराब िव ीय थत मे सुधार करने के लये आरभंिकया था।

    उजालाउजाला (Unnat Jyoti by Affordable LEDs for All- UJALA):इस योजना का उ े य द काश यव था को बढ़ावा देना, द उपकरण के उपयोग करने के बार ेमजाग कता बढ़ाना ह ैतथा िव ुत िबल म कमी लाना ह।ै यह योजना ‘एनज एिफशएंसी स वसेज लिमटेड’ (Energy Efficiency Services Limited) ारा ि या वत क जा रही ह।ै

    अतंरा ीयअतंरा ीय ऊजाऊजा एजसीएजसी (IEA):अंतरा ीय ऊजा एजसी एक वाय संगठन ह,ै जो अपने 30 सद य देश और 8 सहयोगी देश के साथ वै क तरपर िव सनीय, स ती एवं व छ ऊजा सुिन त करने हेतु काम करती ह।ैइसक थापना (1974 म) 1973 के तेल संकट के बाद हुई थी जब ओपेक दश ने तेल क क मत म भारी वृ केसाथ दिुनया को च का िदया था।IEA के मु य े ह-

    ऊजा सुर ाआथक िवकासपयावरण जाग कतावै क संब ता (Engagement Worldwide)

    भारत वष 2017 म अंतरा ीय ऊजा एजसी का एक सहयोगी सद य बना। इसका मु यालय पे रस म ह।ै

    व डव ड एनजएनज आउटलुकआउटलुक (World Energy Outlook- WEO):

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  • यह रपोट अंतरा ीय ऊजा एजसी (International Energy Agency- IEA) ारा जारी क जाती ह।ै

    यूचरयूचर ऑफऑफ सोलरसोलर फोटोवो टकफोटोवो टक' (Future of Solar Photovoltaic) रपोटरपोट:

    यह रपोट ऊजा ○थक टक ‘अंतरा ीय नवीकरणीय ऊजा एजसी’ (International Renewable EnergyAgency- IRENA) ारा जारी क जाती ह।ै

    ‘कक व डव ड एनजएनज टेिट सटेिट स’ (Key World Energy Statistics- KWES):

    KWES रपोट अंतरा ीय ऊजा एजसी ारा काशत िकया जाता ह।ै

    ोतोत: पीआईबीपीआईबी

    कटीकरण मानदडं म सेबी क छूट

    ी ल सी ल स केके लयेलये:सेबी, COVID-19

    मे समे स केके लयेलये:वै क अथ यव था पर COVID-19 के भाव, िनवेशक और सूचीब कंपिनय के िहत क र ा म सेबी कभूिमका

    चचाचचा मम यय ?हाल ही म भारत म COVID-19 के कारण उ प हुई चुनौतय को देखते हुए भारतीय तभूत और िविनमय बोड(Securities and Exchange Board of India-SEBI) ने सूचीब कंपिनय के िहत क र ा के लये कटीकरणमानदडं क अिनवायताओं म अ थायी छूट देने क घोषणा क ह।ै

    मु यमु य बदुबद:ुभारतीय तभूत और िविनमय बोड ारा 20 माच, 2020 को दी गई जानकारी के अनुसार, कंपिनय को चौथीतमाही के प रणाम तुत करने के लये 45 िदन क छूट के साथ कुछ अ य मामल म भी राहत दान क जाएगी।इस घोषणा के अनुसार, कंपिनय को अपने वा षक आँकड़े/प रणाम तुत करने के लये एक माह क अत र छूटदान क गई ह।ैसेबी ारा कंपिनय को ैमािषक गवनस रपोट तुत करने के लये भी एक माह (15 मई) तक क छूट दी गई ह।ै साथ ही सेबी ने कंपिनय क दो बोड बठैक के बीच अिनवाय समयांतराल म भी राहत दान क ह।ै सेबी के अनुसार, COVID-19 के सार से उ प हुई चुनौतय को देखते हुए सूचीब कंपिनय के लये िनयम केअनुपालन म अ थायी राहत दान करने क आव यकता महसूस क गई ह।ै

    भारतीयभारतीय तभूततभूत औरऔर िविनमयिविनमय बोडबोड 11/14

    https://www.drishtiias.com/hindi/daily-updates/daily-news-editorials/on-india-covid-19-preparedness

  • भारतीयभारतीय तभूततभूत औरऔर िविनमयिविनमय बोडबोड

    (Securities and Exchange Board of India-SEBI):

    भारतीय तभूत और िविनमय बोड क थापना ‘भारतीय तभूत और िविनमय बोड अधिनयम, 1992’ केावधान के तहत 12 अ ैल, 1992 को क गई थी।इसका मु यालय मुबंई (महारा ) म थत ह।ैइसके अत र सेबी के चार े ीय कायालय नई िद ी, कोलकाता, चे ई और अहमदाबाद म थत ह।सेबी तभूत बाज़ार (Securities Market) का िवकास और उसके िविनयमन का काय करता ह।ै इसके अत र यह तभूतय म िनवेश करने वाले िनवेशक के िहत के संर ण और तभूत बाज़ार के बार ेमजाग कता फैलाने का काय करता ह।ै

    िनयमिनयम केके अनुपालनअनुपालन मम अ थायीअ थायी छूटछूट काका भावभाव: सेबी ने वतमान संशोधन के आधार पर 31 माच को समा होने वाले िव ीय वष के वा षक प रणाम तुत करने कअंतम तथ को 30 जून तक बढ़ा िदया ह।ै आमतौर पर सूचीब कंपिनय को एक िव ीय वष क समाि के 60 िदनके अंदर अपने वा षक प रणाम तुत करने होते ह।साथ ही सूचीब इकाइय के िनदेशक मडंल और ऑडट कमेटी को 1 िदसंबर, 2019 और 30 जून, 2020 कअवध के बीच होने वाली बठैक के बीच अिनवाय समयांतराल का पालन करने से भी छूट दान क गई ह।ैहालाँिक सेबी के आदेश के अनुसार, िनदेशक मडंल और ऑडट कमेटी को यह सुिन त करना होगा िक वे िनधा रतिविनयम के तहत वष भर म चार बार अव य िमलगे। इस अ थायी छूट के तहत ैमा■सक शेयर हो डग पटैन और िनवेशक शकायत रपोट का िववरण तुत करने कसमय-सीमा को तीन स ाह (15 मई) तक बढ़ा िदया गया ह।ैसेबी ने सूचीब कंपिनय को शेयर ह तांतरण सुिवधा के संदभ म अ वा षकअ वा षक अनुपालनअनुपालन माणमाण पप (Half-YearlyCompliance Certificate) और वा षकवा षक सचवीयसचवीय अनुपालनअनुपालन रपोटरपोट (Annual SecretarialCompliance Report) तुत करने के लये भी एक माह क छूट दान क ह।ैइस छूट के बाद अब सूचीब कंपिनयाँ शेयर ह तांतरण सुिवधा के अ वा षक अनुपालन माण प को 31 मई तकऔर वा षक सचवीय अनुपालन रपोट को 30 जून तक तुत कर सकगी।

    ोतोत: दद इंडयनइंडयन ए स ेसए स ेस

    हं टगटन रोग

    ी ल सी ल स केके लयेलये:हं टगटन रोग

    मे समे स केके लयेलये:आनुवंशक रोग

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  • चचाचचा मम यय ?रा ीय कोशका िव ान क (National Centre for Cell Science- NCCS) पुणे के वै ािनक क एक टीम ने ू ट ाई(Fruit Flies) पर िकये अ ययन म पाया िक हं टगटन (Huntingtin- HTT) नामक जीन म उ प रवतन के कारण न केवलहं टगटन ोटीन मे कमी होती ह ैअिपतु यह उ प रवतन सम ोटीन उ पादन म कमी का कारण बनता ह।ै

    हं टगटनहं टगटन रोगरोग (Huntington Disease- HD): यह म त क को भािवत करने वाला आनुवंशक िवकार ह।ै

    रोगरोग काका कारणकारण:यह रोग HTT नामक जीन म उ प रवतन के कारण होता ह।ै HTT जीन हं टगटन नामक ोटीन के िनमाण म भाग लेतेह। HTT जीन का काय ोटीन िनमाण के लये िनदश देना ह।HTT जीन म उ प रवतत होने के कारण इन जीन क िनदश देने क मता मे बाधा उ प होती ह ैतथा इससे ुिटपूणोटीन का िनमाण होता ह।ै ुिटपूण ोटीन ■ज हे ं पस (Clumps) भी कहा जाता ह,ै म त क क कोशकाओं के सामा य कामकाज को बाधतकरते ह। अंततः म त क क यूरॉ स मृत हो जाती ह ैतथा ये ुिटपूण ोटीन हं टगटन रोग का कारण बनते ह।

    रोगरोग काका भावभाव:इस रोग के कारण शरीर पर िनयं ण नह रहता ह ैतथा सं ाना मक मता म िगरावट आती ह।ै इससे अलावा यान कि त करने म किठनाई, मृत िवलोप, मूड वग, यि व म बदलाव आिद के ल ण देखे जातेह।

    शोधशोध काका मह वमह व:अब तक वै ािनक समुदाय यह नह जान पाए थे िक ुिटपूण ं पस हं टगटन ोटीन िनमाण के अलावा अ य ोटीन केिनमाण को भी भािवत करते ह या नह ।इस शोध म वै ािनक ने HTT जीन के अ ययन म पाया िक रोगजनक हं टगटन ोटीन कोशकाओं के ‘सम ोटीनउ पादन’ म कमी का कारण बनता ह।ै अ ययन के मा यम से ा अंत ि मानव म हं टगटन रोग को समझने म मदद करगेा।

    ोतोत: PIB

    Rapid Fire (करट अफेयस): 21 माच, 2020

    िविव गौरयेागौरयेा िदवसिदवस 2020येक वष 20 माच को दिुनया भर म िव गौरयेा िदवस मनाया जाता ह।ै इस िदवस के आयोजन का मु य उ े य गौरयेा के

    बार ेम जाग कता बढ़ाना और उसके संर ण क िदशा म काय करना ह।ै यात य ह ैिक गौरयेा क आबादी म तेज़ी से आ रही13/14

  • िगरावट को देखते हुए भारतीय पयावरणविव मोह मद िदलावर क नेचर फॉरएवर सोसायटी (Nature Forever Society)ारा इस िदवस क शु आत क गई थी। िव गौरयेा िदवस पहली बार वष 2010 म मनाया गया था। गौरयेा भारत म पाई जानेवाली एक सामा य चिड़या ह,ै कतु बीते कुछ वष म यह देश के शहरी े म िवलुि के कगार पर ह।ै एक हा लया सव ण केअनुसार, भारत म बीते 40 वष म अ य प य क सं या म वृ हुई ह,ै कतु गौरयेा क सं या म 60 तशत क कमी आईह।ै दिुनया भर म गौरयैा क 26 जातयाँ ह, जबिक उनम से 5 भारत म पाई जाती ह।

    ‘वंडरचकनवंडरचकन’ (Wonderchicken)जीवा मिव ानी (Palaeontologists) के एक अंतरा ीय समूह ने आधुिनक प ी के सबसे पुराने जीवा म क पहचान क ह।ैखोजक ाओं ने इस जीवा म को ‘वंडरचकन’ (Wonderchicken) नाम िदया ह।ै इस जीवा म म प ी क लगभग संपूणखोपड़ी शािमल ह।ै खोजक ाओं के अनुमान के अनुसार, यह जीवा म डायनासोर क समाि से भी लाख वष पहले का ह।ैखोजक ाओं का मानना ह ैिक इस नए जीवा म क खोज से दिुनया भर के शोधक ाओं को यह समझने म मदद िमलेगी िकीटेशस अवध (Cretaceous Period) के अंत म प ी बड़े पमैाने पर िवलु होने से बच गए, जबिक िवशालकाय

    डायनासोर ऐसा नह कर सके। जीवा म म ा खोपड़ी के िव तृत िव ेषण के अनुसार, इसक िवभ िवशेषताएँ आधुिनकमुग और ब ख जसेै प य के समान ह।

    पी.के.पी.के. बनजबनजभारत के ■स फुटबॉल खलाड़ी दीप कुमार बनज का 83 वष क उ म कोलकाता म िनधन हो गया ह।ै 23 जून, 1936को प म बगंाल के जलपाईगुड़ी शहर म ज मे पी.के. बनज को वष 1961 म अजुन पुर कार और वष 1990 म प ी सेनवाज़ा जा चुका ह।ै इसके अलावा पी.के. बनज वष 1962 म वण पदक जीतने वाली भारतीय टीम का भी िह सा थे, उ ह नेफाइनल मुकाबले म भारत के लये गोल भी िकया था। पी.के. बनज ने अपने संपूण क रयर म भारत क ओर से कुल 84 मचैखेले थे, ■जसम उ ह ने कुल 65 गोल िकये। इसके अलावा पी.के बनज ने तीन बार एशयाई खेल म और 2 बार ओलिंपक मभारत का तिनध व िकया था। भारतीय फुटबॉल म पी.के. बनज के योगदान क सराहना करते हुए फ फा (FIFA) ने वष2004 म अपने सौ साल पूर ेहोने पर उ ह ‘ऑडर ऑफ मे रट’ से स मािनत िकया था। उ ेखनीय ह ैिक यह फ फा का सवस मान ह।ै

    ‘ वावलबंनवावलबंन ए स ेसए स ेस’हाल ही म भारतीय लघु उ ोग िवकास बक (Small Industries Development Bank of India-SIDBI) ने उ िमयके लये ‘ वावलबंन ए स ेस’ शु करने क घोषणा क ह।ै आधका रक सूचना के अनुसार, वावलबंन ए स ेस 5 जून,2020 को लखनऊ (उ र देश) से चलेगी और 11 उ मशील शहर क या ा करगेी ■जसम ज मू, िद ी, जयपुर,अहमदाबाद, मुबंई, बगंलू , हदैराबाद, भुवने र, कोलकाता और वाराणसी शािमल ह। वावलबंन ए स ेस 15 िदन म 7,000िकलोमीटर क दरूी तय करगेी। इस दौरान कई कायशालाएँ और काय म आयो■जत िकये जाएंगे, ■जनका उ े य यवुाओं मउ मी सं कृत को बढ़ावा देना ह।ै

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    डेली न्यूज़ (21 Mar, 2020)स्कूल बंद के दौरान छात्रों के लिये खाद्य सुरक्षा भत्ताप्रीलिम्स के लिये:मेन्स के लिये:चर्चा में क्यों?प्रमुख बिंदु:कारणसंबंधित नियममिड-डे मील कार्यक्रमआगे की राहस्रोत: इंडियन एक्सप्रेस

    प्रधानमंत्री रोज़गार सृजन कार्यक्रमप्रीलिम्स के लिये:मेन्स के लिये:चर्चा में क्यों?प्रमुख बिंदु:पात्रता हेतु मानदंड:कार्यक्रम के तहत आवंटित और वितरित किये गए ऋणों का विवरण निम्नलिखित है:खादी और ग्रामोद्योग आयोग(Khadi and Village Industries Commission):सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यम:स्रोत: पीआईबी

    वैश्विक खुशहाली रिपोर्ट- 2020प्रीलिम्स के लिये:मेन्स के लिये:चर्चा मे क्यों?मुख्य बिंदु:शीर्ष देश:भारत की स्थिति:निम्नतर स्थिति वाले देश:खुशहाल राष्ट्र का अर्थ:नगर एवं खुशी (Cities and Happiness):रिपोर्ट के बारे में:सतत् विकास समाधान नेटवर्क:

    WTO पैनल की सिफारिश को लागू करने के लिये बाध्य नहीं भारतप्रीलिम्स के लिये:मेन्स के लिये:चर्चा में क्यों?प्रमुख बिंदुक्या है विवाद?व्यापार विवाद और भारतविश्व व्यापार संगठन (WTO)संयुक्त राज्य व्यापार प्रतिनिधि (USTR)स्रोत: इंडियन एक्सप्रेस

    भारत: विद्युत का तीसरा बड़ा उत्पादकप्रीलिम्स के लिये:मेन्स के लिये:चर्चा में क्यों?मुख्य बिंदु:विश्व के शीर्ष विद्युत उपभोक्ता देश:संबंधित सरकारी पहल:अंतर्राष्ट्रीय ऊर्जा एजेंसी (IEA):स्रोत: पीआईबी

    प्रकटीकरण मानदंडों में सेबी की छूटप्रीलिम्स के लिये:मेन्स के लिये:चर्चा में क्यों?मुख्य बिंदु:भारतीय प्रतिभूति और विनिमय बोर्ड(Securities and Exchange Board of India-SEBI):नियमों के अनुपालन में अस्थायी छूट का प्रभाव:स्रोत: द इंडियन एक्सप्रेस

    हंटिंगटन रोगप्रीलिम्स के लिये:मेन्स के लिये:चर्चा में क्यों?हंटिंगटन रोग (Huntington Disease- HD):रोग का कारण:रोग का प्रभाव:शोध का महत्त्व:स्रोत: PIB

    Rapid Fire (करेंट अफेयर्स): 21 मार्च, 2020विश्व गौरेया दिवस 2020‘वंडरचिकन’ (Wonderchicken)पी.के. बनर्जी‘स्वावलंबन एक्सप्रेस’


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